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Sunday, December 20, 2009

मधुशाला

"मेरे अधरों पर हो अंतिम वस्तु न तुलसीदल प्याला
मेरी जीव्हा पर हो अंतिम वस्तु न गंगाजल हाला,
मेरे शव के पीछे चलने वालों याद इसे रखना
राम नाम है सत्य न कहना, कहना सच्ची मधुशाला
"

आज आइये इस अमर "मधुशाला" की ओर रुख़ किया जाए,और जी भर के इसका रस पान किया जाए ।

2 comments:

  1. बहुत सुन्दर प्रस्तुति

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  2. you know tumhare is post ki vajah se maine madhushala kharidi hai...i mean book :-)

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